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महाराष्ट्र सरकार ने व्यक्तिगत विशिष्ट पहचान संख्या के माध्यम से संवेदनशील मौसमी प्रवासी कामगारों की आवाजाही को ट्रैक करने के लिए एक वेबसाइट-आधारित माइग्रेशन ट्रैकिंग सिस्टम (MTS) को विकसित किया है।
महत्वपूर्ण बिंदु
राज्य सरकार के महिला और बाल विकास विभाग ने नवंबर 2021 में चंद्रपुर, गढ़चिरौली, जालना, अमरावती, नंदुरबार और पालघर सहित उच्च आदिवासी आबादी वाले 6 जिलों में इसे पायलट प्रोजेक्ट के रूप में लॉन्च किया था।
MTS परियोजना की परिकल्पना प्रवासी लाभार्थियों को टीकाकरण, पोषण आपूर्ति, स्वास्थ्य जांच आदि जैसी एकीकृत बाल विकास सेवाओं (ICDS) की निरंतरता को बनाए रखने के लिए की गई है, जिसमें स्तनपान कराने वाली माताएं, 18 वर्ष तक की आयु के बच्चे और पंजीकृत गर्भवती महिलाएं भी सम्मिलित हैं।
डेटा का उपयोग
इस डेटा के साथ, राज्य सरकार प्रवासी श्रमिकों की स्वास्थ्य योजनाओं, शैक्षिक कार्यक्रमों आदि में सुधार करने में सक्षम होगी और मनरेगा के बेहतर कार्यान्वयन को सुनिश्चित करने में भी सक्षम होगी।