25 मार्च, 2020 को काबुल में एक “धर्मशाला” पर आतंकवादी हमला हुआ, इस हमले में 11 लोग मारे गए। इस धर्मशाला में हिंदू और सिख समुदाय के लोग थे। इस्लामिक स्टेट आतंकी संगठन ने इस हमले की जिम्मेदारी ली है।
इस हमले के समय गुरुद्वारा में लगभग 150 लोग प्रार्थना कर रहे थे। यह हमला काबुल के शोर बाजार क्षेत्र में हुआ, एक समय में यहाँ कई गुरुद्वारे हुआ करते थे। 1980 के दशक में लड़ाई के दौरान कई गुरुद्वारे नष्ट हो गए थे।
अफगान मुसलमानों और सिखों के बीच संघर्ष में 18वीं से जारी है। इस संघर्ष की शुरुआत अफगानिस्तान में इस्लामिक दुर्रानी साम्राज्य और पंजाब में सिख साम्राज्य के बीच युद्धों की श्रृंखला से हुई। दल खालसा के दिनों से ही संघर्ष चल रहा था। दल खालसा एक सिख सेना थी जो 18वीं शताब्दी में संचालित थी। अटक की लड़ाई इन 2 समुदायों के बीच पहला पहला संघर्ष था।
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